हर नवरात्र के पीछे का एक वैज्ञानिक कारण है और पृथ्वी द्वारा सूर्य की परिक्रमा काल में एक साल की चार संधिया होती है। इनमे से मार्च और सितंबर महीने में पड़ने वाली गोल संधियों में साल के २ एहम पड़ते हैं। सरल शब्दो में कहें तो नवरात्री ९ दिनों तक मनाया जाने वाला एक हिन्दू पर्व है, इन ९ दिनों में माँ दुर्गा की पूजा की जाती है।
माँ दुर्गा के जिन स्वरूपों की पूजा होती हैं उनमे माता शैलपुत्री, ब्रह्मचारिणी, चंद्रघंटा, कुष्मांडा, स्कंदमाता, कात्यायनी, कालरात्रि, महागौरी और सिद्धिदात्रि देवी हैं जो दुर्गा के नौ अलग-अलग रूप हैं। इस साल नवरात्री की शुरुआत १८ मार्च से हुई है और २५ मार्च को अष्टमी और नवमी तिधि तक रहेगी। इसका मतलब है की अष्टमी और नवमी एक ही दिन २५ को मनाई जायेगी। अगर आप भी चाहते हैं की इस नवरात्रि, आपके ऊपर भी बनी रहे माँ की कृपा तो ध्यान रक्खे इन विशेष बातों का।
इन ९ बातों का ध्यान रखने से माँ की विशेष कृपा प्राप्त होती है।
- चाहे आप नवरात्रि में व्रत रख रहे हो या नहीं, भोजन सात्विक ही करें। ९ दिनों तक प्याज , लहसुन और मीट का इस्तमाल करना छोड़ दें।
- नवरात्री के दौरान मैं में अचे व सच्चे विचार बनाये रक्खे। साफ़ मैं वाले लोगो से माँ जल्दी प्रसन्न होती है।
- नवरात्रि में देसी घी की अखंड जोत जलाना काफी सुभ माना जाता है। आप देसी गाये के घी की जग़ह किसी अन्य घी की भी जोत जला सकते हैं।
- एक बात का विशेष ध्यान रक्खे, यदि चाहे आप व्रत कर रहे हैं या नहीं, इन नौ दिनों में आप ब्रह्मचर्य व्रत का पालन करें।
- नवरात्रि में हर रोज़ भगवती के मंदिर में जाकर माता रानी का ध्यान करें।
- शास्त्रों की माने तो यदि नवरात्र के दौरान प्रतिदिन स्वच्छ जल, माता जी को अर्पित किया जाता है तो मां भगवती जल्द प्रसन्न हो जाती हैं।
- विज्ञान भी इस बात को मानने लगा है कि व्यक्ति यदि उपवास करता है तोह इस चीज़ का उसके शरीर पर एक अच्छा असर पढता है। व्रत रखने से हमारे शरीर की सफाई हो जाती है।
- नवरात्री में नौ दिनों तक देवी माता जी को फूलों की माला, हार और नए कपड़ों से माता जी का श्रृंगार करें।
- नवरात्री के आठवें दिन, माता जी की विशेष पूजा का आयोजन करें तथा इस पूजा के लिए यदि किसी ब्राह्मण की मदद ली जाए तो उत्तम रहता है।